देश के कोने कोने में इन दिनों नवरात्रि का त्योहार पूरे धूमधाम से मनाया जा रहा है। नवरात्रि के 9 दिन की अवधि में विशेष धार्मिक और सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित होते हैं। इस दौरान लोग मां दुर्गा देवी के नौ रूपों की पूजा आराधना करते हैं।
पारंपरिक मान्यताओं के अनुसार आज भी बहुत सारे लोग नवरात्रि के अवसर पर 9 दिन का व्रत रखते हैं। वैज्ञानिकों का मानना है कि व्रत रखना न सिर्फ धार्मिक दृष्टि से अच्छा है बल्कि वैज्ञानिक दृष्टि से है यह सेहत के लिए फायदेमंद होता है।
कई सारे शोध में स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने पाया कि हफ्ते में एक दिन का व्रत रखना सेहत के लिए फायदेमंद है। डॉक्टर का मानना है कि डायबिटीज और गर्भावस्था जैसे कुछ विशेष परिस्थितियों को अगर छोड़ दिया जाए तो व्रत रखना सेहत के लिए फायदेमंद होता है।
नवरात्रि में व्रत रखने का स्वास्थ्य को लाभ पहुंचाता है साथ ही यह धार्मिक दृष्टि से शांति प्रदान करता है स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि व्रत रखने से आंत और लीवर को आराम मिलता है। शरीर सही ढंग से डिटॉक्सिफाई हो जाता है।
आज हम जानेंगे नवरात्रि के दिनों में व्रत रखने का हमारे स्वास्थ्य पर किस तरह से सकारात्मक प्रभाव पड़ता है:-
पाचन के लिए फायदेमंद
डॉक्टरों का मानना है कि व्रत रखना पाचन के लिए काफी फायदेमंद रहता है। जब भी हम कुछ खाते हैं चाहे वह स्वस्थ आहार हो या फिर कोई जंकफूड, इस सब का हमारे पाचन तंत्र पर दबाव पड़ता है।
पाचन तंत्र हमारे द्वारा खाए गए खाद्य पदार्थों को पचाने का काम करता है। लेकिन जब नवरात्रि के अवसर पर उपवास किया जाता है तो इससे पाचन तंत्र को एक आराम मिल जाता है। नवरात्रि के अवसर पर व्रत रखने से मल त्याग को नियंत्रित करने और कब्ज जैसी समस्याओं से छुटकारा मिलने में मदद मिलती है।
वजन घटाने में मददगार
स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार अगर सही तरीके से अभ्यास किया जाए तो उपवास उपवास करने से वजन घटाने में बहुत मदद मिलती है। नवरात्र के व्रत के दौरान फलों के आटे के साथ तिल के लड्डू और दही का प्रयोग किया जाता है।
यह कई प्रकार के विटामिन, कार्बोहाइड्रेट, वसा और प्रोबायोटिक का एक मिश्रण होता है। उनका सेवन करना हमारे स्वास्थ्य के लिए बहुत फायदेमंद होता है।
व्रत के दौरान जो आहार लिए जाते हैं उनमें कैलोरी की मात्रा बेहद कम होती है। लेकिन शरीर को आवश्यक पोषक तत्वों की आपूर्ति होती रहती है। ऐसे में यह वजन को घटाने में काफी मददगार होते हैं।
शरीर होता है डिटॉक्सिफाई
व्रत रखने की आदत शरीर को विषाक्त पदार्थों से मुक्त करके डिटॉक्स करने का काम करता है। समय के साथ भोजन पानी और वायु प्रदूषण का शिकार होते रहते हैं और यह हमारे शरीर में जाकर इकट्ठा होता रहता है।
यह सूजन और कई प्रकार की क्रॉनिक बीमारियों के खतरे को काफी ज्यादा बढ़ा देता है। लेकिन व्रत रखकर इन सभी विषाक्त पदार्थों को शरीर से बाहर आसानी से निकालने में मदद मिलती है।
शरीर को स्वस्थ रखने के लिए समय-समय पर शरीर को डिटॉक्सिफिकेशन करना बेहद जरूरी होता है। ऐसे में व्रत रखकर शरीर को डिटॉक्सिफाई किया जा सकता है।
व्रत रखने के फायदे
व्रत रखने के कई फायदे होते हैं। यह हमारे शरीर में इंसुलिन से संबंधित समस्याओं का निवारण करता है और मानसिक स्वास्थ्य के लिए भी व्रत रखना काफी फायदेमंद होता है।
मालूम हो कि टाइप 1 और टाइप 2 डायबिटीज में शरीर में पर्याप्त मात्रा में इंसुलिन नहीं बन पाता। इन्सुलिन प्रतिरोधक क्षमता को सुधारने का काम करता है। ऐसे में व्रत रखना सेहत के लिए फायदेमंद है।
2013 में हुए एक शोध के अनुसार व्रत रखने से ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस को कम करने में मदद मिलती है। जो लोग अवसाद और तनाव के जोखिम से जूझ रहे होते हैं उनके लिए व्रत रखना फायदेमंद होता है।
नोट : इस लेख में बताई गई जानकारी केवल सामान्य जानकारी के मकसद से है इसमें बताई गई किसी भी बात के लिए हमारे साइट जिम्मेदार नहीं होगी।
यह भी पढ़ें :–