किशमिश हमारे स्वास्थ्य के लिए बहुत फायदेमंद मानी जाती है। इसमें कई सारे ऐसे पोषक तत्व पाए जाते हैं जो हमारे शरीर के स्वास्थ्य के लिए बेहद जरूरी होते हैं। इसलिए स्वास्थ्य विशेषज्ञ डाइट में किशमिश को शामिल करने की सलाह देते हैं।
किशमिश कई प्रकार की होती है – हरी किशमिश, काली किशमिश, गोल्डन रंग की किशमिश। वैसे तो सभी तरह की किसमिस हमारे स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद होती है।
लेकिन आज हम जाने कि हमारे स्वास्थ्य के लिए सबसे ज्यादा फायदेमंद कौन सी किसमिस होती है। लेकिन उससे पहले हम जानेंगे किशमिश में पाए जाने वाले पोषक तत्वों के बारे में
किशमिश में कौन से पोषक तत्व होते हैं ?
किशमिश को सूखे में भी की श्रेणी में शामिल किया जाता है। सामान्यता किशमिश को अंगूर को सुखाकर तैयार करते हैं। किशमिश को अंग्रेजी भाषा में रायसिन Raisin के नाम से जाना जाता है।
किशमिश में भरपूर मात्रा में फाइबर, आयरन और प्रोटीन पाया जाता है। इसके अलावा इसमें पोटैशियम, कॉपर, विटामिन सी, कैल्शियम भी पाया जाता है। किशमिश को फाइटोकेमिकल्स का एक बेहतरीन स्त्रोत समझा जाता है।
इसमें एंटीऑक्सीडेंट, एंटीबैक्टीरियल, विटामिन ई और स्वास्थ वसा पाई जाती है। इन सारे पोषक तत्वों की वजह से इसमें हमारी सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होती है और इसे अपने डाइट में जरूर शामिल करना चाहिए।
किशमिश के प्रकार –
किशमिश नाराम और मीठे सूखे अंगूर को कहा जाता है। इसमें कई सारे पोषक तत्व भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं। नाश्ते में किशमिश का सेवन करना काफी फायदेमंद माना जाता है। कई मीठे व्यंजन बनाने में भी किशमिश का इस्तेमाल किया जाता है। प्रमुख रूप से चार प्रकार की किसमिस पाई जाती है –
- काली किशमिश
- भूरे रंग की किशमिश
- हरी किशमिश तथा
- गोल्डन किशमिश
काली किशमिश –
किशमिश का सबसे आम प्रकार काली किशमिश है। ज्यादातर घरों में इसी का इस्तेमाल किया जाता है। काली किशमिश को काले अंगूरों को सुखाकर तैयार करते हैं। यह बालों को झड़ने से रोकता है, आंतों की सफाई करने में मददगार है तथा त्वचा से जुड़ी समस्याओं को भी दूर करने का काम करती है। इस तरह से काली किशमिश खाने से स्वास्थ्य को कई तरह से फायदा मिलता है
जांटे करंट्स
यह काली किशमिश का ही एक प्रकार है। यह खाने में कम मीठा होता है। इसमें थोड़ा तीखापन भी पाया जाता है। आकार में भी यह काफी छोटा होता है। गले की खराश की समस्या को दूर करने, ब्लड प्रेशर को कम करने तथा इम्यूनिटी को बढ़ाने में या काफी फायदेमंद है।
गोल्डन किशमिश –
गोल्डन किशमिश को सुनहरी किशमिश भी कहा जाता है। इसे सुल्ताना किशमिश का नाम तुर्की के हरे अंगूर के नाम पर रखा गया है। इसे थाम्पसन बीज रहित रंगों से बनाया जाता है। इसका आकार अन्य दूसरी किस में से छोटा होता है। यह ब्लड शुगर को कंट्रोल करने तथा सूजन को कम करने में मददगार होती है। यह पाचन के लिए भी अच्छी मानी जाती है।
लाल किशमिश –
स्वाद में सबसे स्वादिष्ट लाल किशमिश मानी जाती है। इसे लाल लंगूर से बनाया जाता है। इस किशमिश का सेवन करने से डायबिटीज का खतरा काफी हद तक कम हो जाता है। साथ ही यह दातों के लिए भी काफी फायदेमंद है। लाल किशमिश आंखों की रोशनी को बेहतर करने का काम करती है।
हरी किशमिश –
हरी किशमिश पतली और आकार में लंबी होती है। यह रेसेदार होती है। इसमें फाइबर भरपूर मात्रा में पाया जाता है। हरी किशमिश का सेवन करने से दिल का स्वास्थ्य बेहतर रहता है। शरीर में खून को बढ़ाने तथा एनीमिया की समस्या को दूर करने में हरी किशमिश फायदेमंद मानी जाती है। यह पाचन को भी बेहतर करने का काम करती है।
मुनक्का –
मुनक्का सूखे अंगूर से बनाया जाता है। यह किशमिश की तुलना में आकार में थोड़ा बड़ा होता है। इसके अंदर बीज भी पाया जाता है। महिलाओं के स्वास्थ्य के लिए मुनक्का को काफी अच्छा माना जाता है। मुनक्का खाने से स्वास्थ्य ठीक रहता है और हड्डियां मजबूत बनती है। इसके सेवन से वजन को बढ़ाने में मदद मिलती है।
किशमिश के फायदे –
- किशमिश में आयरन भरपूर मात्रा में होता है। यह एनेमिया को दूर कर के शरीर में खून की मात्रा को बढ़ाता है।
- किशमिश में एंटीऑक्सीडेंट के गुण पाए जाते हैं यह खराब कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करता है और हृदय रोग के जोखिम को काफी हद तक कम कर देता है।
- एसिडिटी तथा कब्ज की समस्या से छुटकारा दिलाने में किशमिश काफी फायदेमंद होता है।
- किशमिश में फाइबर पाए जाने की वजह से यह पाचन को बेहतर करता है।
- किशमिश में कार्बोहाइड्रेट भरपूर मात्रा में होता है इसलिए यह शरीर को ऊर्जा देने का काम करता है।
कौन सी किशमिश है अधिक फायदेमंद
सभी तरह की किशमिश में पोषक तत्व लगभग समान मात्रा में ही पाए जाते हैं। ऐसे में किसी भी प्रकार की किशमिश को आप अपने स्वाद और पसंद के अनुसार अपने डाइट में शामिल कर सकते हैं।
लेकिन ध्यान रहे अधिक मात्रा में किशमिश खाने से बचना चाहिए क्योंकि यह वजन को बढ़ाने का काम करती है। किशमिश गर्म तासीर की होती है। इसलिए इसे सूखा खाने से बचना चाहिए। इसे रात में भिगोकर सुबह खाली पेट सेवन करना अधिक फायदेमंद है।
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